
Panchkosh Sadhna Experience Sharing – 4
PANCHKOSH SADHNA – Online Global Class – 26 Sep 2021 (5:00 am to 06:30 am) – Pragyakunj Sasaram _ प्रशिक्षक श्री लाल बिहारी सिंह
ॐ भूर्भुवः स्वः तत्सवितुर्वरेण्यं भर्गो देवस्य धीमहि धियो यो नः प्रचोदयात्|
SUBJECT: पंचकोश साधना अनुभव – 4
Broadcasting: आ॰ अंकुर सक्सेना/ आ॰ नितिन आहूजा
Hosting: आ॰ श्री सुभाष चन्द्र सिंह जी
यथावत् पूर्णतो ज्ञानं संसारस्य च स्वस्य च स्वस्य च। नूनमित्येव विज्ञानं प्रोक्तं विज्ञानवेत्तृभिः ।।24।। अर्थात् संसार का और अपना ठीक-ठाक और पूरा-पूरा ज्ञान होने को ही विज्ञानवेत्ताओं ने विज्ञान कहा है।
अंधानुकरण से बचा जाए। हम परंपराओं की जगह विवेक को महत्व देंगे।
आ॰ वीणु शर्मा जी व आ॰ सत्यकाम जी ‘दंपत्ति’ (Yoga Teacher & Scientists, Georgia, USA)
अनुभूति: योगा प्रोफेसनल, क्रियायोग सिद्धि, सोऽहम भाव, आत्मानुभूति आदि।
आ॰ विकास जी (Boston, USA)
अनुभूति: नियमितता, आरोग्य, flexibility, balance, क्रियायोग सिद्धि, शिक्षण-प्रशिक्षण, आत्मीयता etc.
आ॰ मीना कुमारी शर्मा जी (शिक्षिका, दिल्ली)
अनुभूति: व्यक्तित्व निर्माण, परिवार निर्माण, सकारात्मकता, आत्मीयता आदि।
आ॰ डॉक्टर कृष्णा चौधरी जी (सुपौल, बिहार)
अनुभूति: जीवन साधना, जप – ध्यान, शिक्षण-प्रशिक्षण, आनंद, पंचकोश अनावरण आदि।
आ॰ गायत्री हिरास्कर दीदी (Student, पुणे, महाराष्ट्र)
अनुभूति: आरोग्य, आहार विहार शुद्धि, मेधा/ प्रज्ञा, प्रबंधन, आत्मीयता आदि।
आ॰ पद्मा हिरास्कर दीदी (योग शिक्षक, समाजसेवी, गृहिणी, पुणे, महाराष्ट्र)
अनुभूति: परिवार प्रबंधन, पंचकोश अनावरण, आहार शुद्धि, शांत व संतुलित मन, स्वाध्याय, तात्विक दृष्टिकोण, आत्मीयता, श्रद्धा आदि।
आ॰ SK Suman जी (साफ्टवेयर इंजीनियर, बैंगलोर, कर्नाटक)
अनुभूति: स्वस्थ शरीर, प्राणवान (स्फूर्ति, उमंग, उत्साह), सतेज मन, मनोभाव नियंत्रण, श्रद्धा, आत्मीयता आदि।
आ॰ मंजु कुमारी जी (शिक्षिका, बिहार)
अनुभूति: क्रियायोग सिद्धि, स्वस्थ शरीर, सतेज मन, ईमानदारी, तृप्ति, संतुष्टि आदि।
आ॰ कमलेश यादव (डिफेंस पर्सनल, कोलकाता, प॰ बं॰)
अनुभूति: आत्मवत्सर्वभूतेषु, Man management, स्वस्थ शरीर, लोचकता, युवापन, क्रियायोग सिद्धि, श्रद्धा – प्रज्ञा, समाज सेवा व राष्ट्र सेवा आदि।
आ॰ प्रतिभा सिंह जी (गृहिणी, लखनऊ, उ॰ प्र॰)
अनुभूति: नियमितता, ऊर्जावान शरीर, सतेज मन, मनोभाव नियंत्रण, स्वाध्याय, श्रद्धा व आत्मीयता आदि।
आ॰ कमला देवी जी (गृहिणी, पटना, बिहार)
अनुभूति: परिवार प्रबंधन, श्रद्धा, अंतः शुचिता, क्रियायोग, सकारात्मकता, स्वाध्याय, शिक्षण-प्रशिक्षण आदि।
आ॰ मोहन जी (Businessman, मुरादनगर, उ॰ प्र॰)
अनुभूति: कायाकल्प, पंचकोश अनावरण, निरोगिता, ऊर्जावान शरीर, सतेज मन, श्रद्धा, प्रज्ञा व निष्ठा आदि।
आ॰ रिपु दमन जी (Businessman, Delhi NCR)
अनुभूति: आत्मनिरीक्षण, आत्मसुधार, आत्मनिर्माण व आत्मविकास, समय प्रबंधन, आहार विहार संयम, सतेज मन आदि।
श्री लाल बिहारी सिंह @ बाबूजी
आ॰ SC Singh भाई साहब को बेहतरीन के संचालन हेतु धन्यवाद। सभी साधक वृन्दों का आभार – नमन।
सभी साधक को साधना पथ में आए अवरोधों को अनुभव संग रखना चाहिए। जिससे शोध कार्य प्रगति पर रहे।
ॐ शांतिः शांतिः शांतिः।।
Writer: Vishnu Anand
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